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हमीरपुर/विवेकानंद वशिष्ठ :- भारतीय कृषि सुसंधान संस्थान, शिमला और हिम्मोत्थान सोसाइटी के सहयोग से हमीरपुर जिले के करोट गांव में जौ की उन्नत किस्मों का फ्रंटलाइन प्रदर्शन किया गया। कार्यक्रम के दौरान कृषि वैज्ञानिक डॉ. मधु पटियाल ने किसानों को बीएचएस-400 और बीएचएस-380 किस्मों के बीज वितरित किए। डॉ. मधु पटियाल ने जौ की दोनों किस्मों की जानकारी देते हुए बताया कि बीएचएस-400 मुख्य रूप से अनाज उत्पादन के लिए उपयोगी है तथा बीएचएस-380 चारे और अनाज दोनों के लिए उपयोगी है।
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डॉ. मधु पटियाल ने किसानों को बताया कि जौ का उपयोग केवल अनाज उत्पादन और चारे के लिए ही नहीं, बल्कि इससे रोटियां भी बनाई जाती है, जो स्वास्थ्य की लिए अत्यंनंत लाभकारी है। कार्यक्रम में कृषि विशेषज्ञ सुजैन कान्टा ने किसानों को जौ की बुआई की उन्नत तकनीकों की जानकारी दी। उन्होंने किसानों को यह समझाया कि उन्नत तकनीकों का उपयोग करके वे अपनी उपज में सुधार कर सकते है तथा खेती को अधिक लाभकारी बना सकते हैं। इस अवसर पर कार्यक्रम में हिम्मोत्थान संस्था के परियोजना अधिकारी रणदीप सिंह भी उपस्थित रहे। इस प्रकार के प्रदर्शन से किसानों को आधुनिक तकनीक और उन्नत किस्मों का उपयोग करने का अवसर मिलता है। इससे क्षेत्रीय कृषि में सुधार होगा और किसानों को अधिक लाभ मिलेगा।
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