हिमाचल को मदद का वादा, आपदा के बाद पुनर्वास के लिए मिलेगी वित्तीय मदद

हिमाचल/विवेकानंद वशिष्ठ :-  केंद्र में नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में बनी एनडीए सरकार ने मंगलवार को अपना बजट पेश किया। केंद्रीय वित्त मंत्री ने मोदी 3.0 का अपना पहला बजट पेश किया। इस दौरान वित्त मंत्री ने हिमाचल में पिछली साल बरसात में हुए नुकसान की भरपाई में मदद करने का भरोसा दिया है, लेकिन पिछली साल आई त्रासदी की भीषण आपदा से निपटने के लिए हिमाचल को केंद्र से कितना पैकेज मिलेगा, वित्त मंत्री ने बजट भाषण में इस बात का कोई जिक्र नहीं किया है। हालांकि बजट भाषण में मदद करने का भरोसा मिलने से हिमाचल को प्राकृतिक आपदा से हुए नुकसान से उबरने की उम्मीद जगी है।

बाढ़ से निपटने के लिए केंद्र सरकार विभिन्न राज्यों को 11,500 करोड़ रुपये की अनुमानित लागत से वित्तीय सहायता प्रदान करेगी। इसी तरह सरकार एक करोड़ युवाओं को अगले पांच साल में टॉप-500 कंपनियों में इंटर्नशिप का मौका देगी। यह इंटर्नशिप 12 महीने की होगी। इससे हिमाचल के युवाओं को भी लाभ होगा। मंडी सीट से सांसद कंगना रणौत ने कहा कि हिमाचल प्रदेश के लिए राहत कोष का वादा किया गया है। हम बजट से बहुत खुश हैं।

किसानों-बागवानों को मिलेगा फायदा

किसानों को खेतीबाड़ी के लिए 32 कृषि व बागवानी फसलों की 109 नई उच्च पैदावार वाली व जलवायु अनुकूल किस्में जारी की जाएगी। इसी के साथ अगले दो साल तक एक करोड़ किसानों को प्रमाणपत्र व ब्रांडिंग द्वारा सहायता देकर प्राकृतिक खेती की शुरुआत की जाएगी। 10 हजार आवश्यकता आधारित जैव आदान संसाधन केंद्र स्थापित किए जाएंगे। फसलों के उत्पादन, भंडारण और विपणन की व्यवस्था की जाएगी।

 

दालों और तिलहन के लिए मिशन मोड पर काम होगा। 400 जिलों में फसलों का सर्वे किया जाएगा। इन घोषणाओं से हिमाचल के किसानों-बागवानों को लाभ होगा। प्रदेश के 90 प्रतिशत लोग ग्रामीण क्षेत्रों में रहते हैं तथा 70 प्रतिशत लोग सीधे तौर पर कृषि पर निर्भर है। राज्य में सेब की बागवानी 5,000 करोड़ रुपये की आर्थिकी बनकर उभरी है।

आपदा से हुआ था 9712 करोड़ का नुकसान

आपको बता दें कि पिछले साल मानसून सीजन में हिमाचल को सदी का सबसे अधिक 9,712 करोड़ का नुकसान हुआ था। मानसून सीजन में 500 से ज्यादा लोग अकाल मौत का ग्रास बन गए थे। वहीं, 519 लोग घायल और 39 लोग का लापता हुए थे। इसी तरह 21 हजार से अधिक मवेशियों की भी जान चली गई थी।

सबसे ज्यादा PWD को हुआ था नुकसान

हिमाचल में पिछले साल सदी की सबसे भीषण त्रासदी हुई थी। उस दौरान प्रदेश में अकेले पिछले छह मानसून सीजन के बराबर का नुकसान हुआ था। वर्ष 2023 में मानसून सीजन में भारी बारिश, बाढ़ और लैंडस्लाइड की घटनाओं में प्रदेश को करीब 9712 करोड़ का नुकसान हुआ था।

मानसून के सीजन में लैंडस्लाइड की 169 घटनाएं और फ्लैश फ्लड की 72 घटनाएं घटी थीं। हिमाचल में आपदा से सबसे ज्यादा लोक निर्माण विभाग को 2949 करोड़ का नुकसान हुआ था। इसके अलावा जल शक्ति विभाग को 2419 करोड़, बिजली बोर्ड को 1917 करोड़, कृषि-बागवानी को 570 करोड़ और ग्रामीण विकास विभाग को 675 करोड़ का नुकसान हुआ था।